खेल की खबरें | पहले कुछ मैचों में नहीं खिलाने के बारे में शमी से बात की थी: रोहित

अहमदाबाद, 18 नवंबर कभी कभार टीम की जरूरतों को देखते हुए टीम प्रबंधन को कुछ मुश्किल फैसले लेने पड़ते हैं लेकिन भारतीय कप्तान रोहित शर्मा ने शनिवार को कहा अगर संबंधित खिलाड़ी मोहम्मद शमी जैसा ‘टीम मैन’ हो तो इस तरह के फैसले करना आसान हो जाता है।
शमी विश्व कप में भारत के पहले चार मैच में नहीं खेल पाये थे लेकिन आल राउंडर हार्दिक पंड्या की चोट के बाद उन्हें न्यूजीलैंड के खिलाफ मैच में अंतिम एकादश में चुना यगा।
इसके बाद से उन्होंने 23 विकेट झटक लिये हैं जिसमें से तीन बार पांच विकेट हासिल किये और यह प्रदर्शन वनडे में किसी भारतीय गेंदबाज का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन भी है।
भारत के प्रदर्शन में शमी का योगदान अहम रहा है। निश्चित रूप से रोहित ने अच्छी शुरूआत दी और विराट कोहली ने शानदार लय दिखायी लेकिन ‘अमरोहा एक्सप्रेस’ ने एक के बाद एक मैच में प्रतिद्वंद्वी टीम को पस्त किया।
रोहित ने स्वीकार किया कि इस तेज गेंदबाज को बाहर रखना आसान नहीं था।
उन्होंने कहा, ‘‘विश्व कप के शुरूआती हिस्से में उसे नहीं खिलाना बहुत मुश्किल था, वह हमारा सीनियर गेंदबाज हैं लेकिन वह हमेशा टीम के लिए मौजूद था। वह मोहम्मद सिराज की मदद की लिये मौजूद था, वह जिस तरह भी जसप्रीत बुमराह की मदद कर सकता था, उसके लिए मौजूद था। ’’
रोहित ने कहा, ‘‘वह पूरी तरह से ‘टीम मैन’ है। ’’
रोहित ने कहा कि टीम प्रबंधन ने शमी को स्पष्ट तौर पर बता दिया था कि वह अंतिम एकादश से बाहर क्यों हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘हमने उसे बाहर रखने के बारे में उससे बात की थी। वह अपनी गेंदबाजी पर काम करता रहा। हर कोई नतीजे देख सकता है। ’’
कप्तान ने कहा कि शमी के प्रदर्शन ने दिखाया कि वह मानसिक रूप से किस स्थिति में है। उन्होंने कहा, ‘‘यह दिखाता है कि वह विश्व कप से पहले और अब भी मानसिक रूप से किस स्थिति में था। यह आसान नहीं है कि आप टीम का हिस्सा नहीं हों और फिर टीम में शामिल हो और वही काम करो जो वह हमारे लिए करता रहा है, यह उनके बारे में काफी कुछ बताता है। ’’
टीम खेल में व्यक्तिगत पसंद नापसंद की कोई जगह नहीं होती और ‘थिंक टैंक’ बिना तर्क के कोई फैसला नहीं लेता।
उन्होंने कहा, ‘‘जब आप टीम खेल खेलते हो तो लोग समझते हैं कि कुछ मौकों पर कुछ खिलाड़ियों को क्यों नहीं खिलाया गया क्योंकि अंतिम एकादश में सही संयोजन बनाने में काफी योजना होती है। यह परिस्थितियों, प्रतिद्वंद्वी पर निर्भर करता है और आप किस तरह का संतुलन बनाना चाहते हो। ’’
रोहित ने कहा, ‘‘यह बस इतना ही था और एक बार उसके लिए मौका बना तो उसने कर दिखाया। हम उसके प्रदर्शन में यह देख सकते हैं। ’’

प्रातिक्रिया दे

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा. आवश्यक फ़ील्ड चिह्नित हैं *